अमेरिका-वेनेज़ुएला तनातनी बढ़ी: ट्रंप ने जमीनी कार्रवाई के संकेत दिए
ट्रंप ने वेनेजुएला में “बुरे लोगों” पर जल्द हमला करने की बात कही। मादुरो ने अमेरिकी सैन्य योजना को सत्ता हथियाने की कोशिश करार दिया।
Washington - वॉशिंगटन और कराकस के बीच पहले से चल रहा तनाव अब और गहरा होता दिख रहा है। कैरेबियन सागर में कथित ड्रग तस्करों पर हुए अमेरिकी हमलों को लेकर विवाद शांत भी नहीं हुआ था कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने वेनेज़ुएला में संभावित जमीनी अभियान की ओर इशारा कर दिया। ट्रंप ने साफ कहा कि अमेरिका जल्द ही वेनेज़ुएला की जमीन पर मौजूद “खतरनाक तत्वों” के खिलाफ कार्रवाई शुरू कर सकता है।
उनके इस बयान से लैटिन अमेरिकी क्षेत्र में राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। वहीं वेनेज़ुएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो ने इसे अमेरिकी हस्तक्षेप और जबरन सत्ता परिवर्तन की कोशिश करार दिया है।
ट्रंप का दावा: ‘हम जानते हैं, बुरे लोग कहां छिपे हैं’
मंगलवार को हुई कैबिनेट बैठक के दौरान ट्रंप ने वेनेज़ुएला को लेकर काफी आक्रामक रुख अपनाया। उन्होंने कहा कि अमेरिकी खुफिया एजेंसियों को “बुरे लोगों” के ठिकानों की पूरी जानकारी है और जरूरत पड़ने पर वे सीधे जमीन पर उतरकर कार्रवाई करेंगे।
ट्रंप ने मादुरो पर गंभीर आरोप लगाते हुए उन्हें ड्रग तस्करी नेटवर्क का “मुख्य सरगना” बताया। साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि मादुरो को अपने पद से हट जाना चाहिए, वरना सख्त कदम उठाए जा सकते हैं।
अमेरिकी राष्ट्रपति की इन टिप्पणियों ने यह संकेत दे दिया है कि वॉशिंगटन अब सिर्फ समुद्री अभियानों तक सीमित नहीं रहना चाहता।
कैरेबियन में अमेरिकी हमला और बढ़ा विवाद
अमेरिका का यह सख्त रुख ऐसे समय सामने आया है जब उसके सैन्य अभियान पहले से ही सवालों के घेरे में हैं। 2 सितंबर को कैरेबियन सागर में चल रही एक कथित ड्रग बोट पर अमेरिकी सेना के दो हमले हुए। आरोप है कि पहला हमला करने के बाद भी कई लोग जीवित थे, और उन्हें मार गिराने के लिए दूसरा हमला किया गया।
रिपोर्टों के अनुसार, अब तक इन अभियानों में 80 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है। कई मानवाधिकार संगठनों ने इसे गंभीर उल्लंघन बताते हुए जांच की मांग की है।
ट्रंप प्रशासन इन आरोपों से घिरा हुआ है और यही वजह है कि कैबिनेट बैठक में यह मुद्दा प्रमुखता से उठाया गया।
ट्रंप और युद्ध मंत्री का पक्ष
ट्रंप ने बैठक में इस विवाद पर अपनी सफाई देते हुए कहा कि उन्हें दूसरे हमले के बारे में जानकारी नहीं थी। उन्होंने युद्ध मंत्री पीट हेगसेथ का भी बचाव किया और कहा कि न तो वे और न ही हेगसेथ इस दोबारा किए गए हमले से अवगत थे।
हेगसेथ ने भी दावा किया कि उन्होंने केवल पहला हमला लाइव देखा था। उनके अनुसार, उस घटना के बाद वे एक अन्य बैठक में चले गए और उन्हें दूसरे हमले की जानकारी घंटों बाद मिली। उन्होंने यह भी कहा कि उन्होंने किसी को “जिंदा” नहीं देखा, जिससे पता चलता है कि स्थिति को लेकर खुद अमेरिकी सेना के भीतर भी स्पष्टता की कमी है।
मादुरो की प्रतिक्रिया: ‘अमेरिका सत्ता हथियाने की कोशिश कर रहा है’
उधर वेनेज़ुएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो ने अमेरिका की मंशा पर कड़ा हमला किया है। उन्होंने आरोप लगाया कि ट्रंप प्रशासन उनके शासन को उखाड़ फेंकने की कोशिश कर रहा है। मादुरो ने कहा कि अमेरिकी बयानबाज़ी और सैन्य कार्रवाई का संकेत, दोनों ही अंतरराष्ट्रीय कानून के खिलाफ हैं।
वेनेज़ुएला की सरकार का कहना है कि अमेरिका “ड्रग तस्करी” का बहाना बनाकर क्षेत्र में सैन्य बढ़त हासिल करना चाहता है।
तनाव बढ़ने की आशंका
ट्रंप के बयानों के बाद यह साफ है कि दोनों देशों के रिश्ते और बिगड़ सकते हैं। यदि अमेरिका वास्तव में वेनेज़ुएला में जमीनी अभियान शुरू करता है, तो इससे क्षेत्र में अस्थिरता और बढ़ सकती है।
अब अंतरराष्ट्रीय समुदाय की नजर इस बात पर है कि वॉशिंगटन अपने बयान पर कितना आगे कदम बढ़ाता है और कराकस इस चुनौती का सामना कैसे करता है।
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