Karauli News- राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय सपोटरा में बालिकाओं को दी कानूनी जानकारी
राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय सपोटरा में एक्शनएड एसोसिएशन इंडिया द्वारा महिला श्रमिक उत्पीड़न मुक्त कार्यस्थल जागरूकता अभियान के तहत जागरूकता शिविर आयोजित किया गया। विद्यार्थी को "पोश एक्ट" सहित विभिन्न कानूनी प्रावधानों की जानकारी दी गई।

करौली, 28 जुलाई। जिला प्रशासन एवं एक्शनएड एसोसिएशन इंडिया द्वारा चलाए जा रहे महिला श्रमिक उत्पीड़न मुक्त कार्यस्थल जागरूकता अभियान के अंतर्गत आज राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय सपोटरा में जागरूकता शिविर का आयोजन कर विद्यार्थियों को कानूनी जानकारी प्रदान की गई। एक्शनएड जिला समन्वयक दिनेश कुमार बैरवा ने बताया कि एक्शनएड द्वारा संपूर्ण देश में 1 जुलाई से 30 सितम्बर तक राष्ट्रव्यापी अभियान चलाया जा रहा है। जिसके तहत महिला श्रमिकों में कार्यस्थल पर महिलाओं का यौन उत्पीड़न रोकथाम, निषेध और निवारण अधिनियम, 2013 के प्रति जागरूकता बढाना एवं उत्पीड़न की शिकायत स्थानीय शिकायत समिति, नजदीकी पुलिस थाना, राष्ट्रीय एवं राज्य महिला आयोग की बेबसाइट एवं शी-बोक्स पोर्टल पर करने एवं उत्पीड़न के खिलाफ आवाज उठाने के लिए प्रेरित करना है।
जिला समन्वयक ने कहा कि पोश एक्ट महिलाओं को कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न से बचाने के लिए बनाया गया एक कानून है. यह अधिनियम 2013 में पारित किया गया था और इसका उद्देश्य एक सुरक्षित कार्य वातावरण प्रदान करना है जहाँ महिलाएँ उत्पीड़न के डर के बिना काम कर सकें। पोश अधिनियम में यौन उत्पीड़न को स्पष्ट रूप से परिभाषित किया गया है, जिसमें अवांछित शारीरिक संपर्क, यौन अनुग्रह की मांग, अश्लील साहित्य दिखाना, और यौन प्रकृति का कोई भी अवांछित व्यवहार शामिल है।
यह अधिनियम महिलाओं को कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न से बचाता है, जिससे वे सुरक्षित और गरिमापूर्ण वातावरण में काम कर सकती हैं। जिला समन्वयक ने विद्यार्थियों से कहा कि आपके परिवार या आपके आस- पास की किसी भी महिला श्रमिकों के साथ कार्यस्थल पर उत्पीड़न होता है या कोई महिला श्रमिक उत्पीड़न का शिकार है तो उसकी शिकायत महिला गरीमा हेल्पलाइन नंबर 1090 नालसा हेल्पलाइन नंबर 15100 पर कर सकतें है। उन्होंने बताया कि ईंट भट्टों, भवन निर्माण, सड़क निर्माण, खान, साफ सफाई एवं घरेलू कार्य करने वाली महिलाओं के साथ कार्यस्थल पर उत्पीड़न की संभावना अधिक रहती है।
महिला श्रमिकों के साथ कार्यस्थल पर ठेकेदार, मालिक, या अन्य व्यक्ति उत्पीड़न करता है तो महिलाओं को अपने अधिकारों के बारे में जागरूक करता है तो अधिनियम में शिकायत दर्ज करने और निवारण की प्रक्रिया निर्धारित की गई है, जिससे महिलाओं को न्याय मिलने की संभावना बढ़ जाती है। जिला समन्वयक ने पोक्सो एक्ट, साइबर अपराध एवं बचाव, बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम के प्रावधानों के संबंध में जानकारी दी गई। इस दौरान प्रधानाचार्य केदार लाल मीणा, आवास प्रभारी देवीशंकर, स्वयंसेवक विजेंद्र बैरवा आदि उपस्थित रहें।
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